हम फिर वापस आएंगे!
फिर से हम जिन्दा लाशें,अपने मरे हुए सपनों से, नाउम्मीदी ओर जिल्लत की जिंदगी सेफिर से हम आपके रुके हुए…
जहां बातें होंगी हिंदी इस्टाइल में
फिर से हम जिन्दा लाशें,अपने मरे हुए सपनों से, नाउम्मीदी ओर जिल्लत की जिंदगी सेफिर से हम आपके रुके हुए…
माना अपने गांव में, रहता बहुत कलेस। कुल पीड़ा स्वीकार है, ना जाइब परदेस।
देश एक मुश्किल दौर से गुजर रहा हैं। हम सब नौकरी से लेकर जान तक गवां रहे हैंं लेकिन एक…