पॉलिटिकल लव- प्यार में कर्जमाफ़ी

तुम कल मुझसे मिलने क्यों नहीं आये?

अरे बाबा कुछ काम पड़ गया था.

ठीक है, जाओ काम करो फिर.

अरे बाबा!  माफ कर दो हमें फिर नहीं होगा ऐसा.

माफ हम बस उतना ही करेंगे जितना योगी सरकार ने किसानों का कर्ज माफ किया है.

हा हा हा, फिर तो रहने दो माफ करने को.

तुम मुझे परेशान तो नहीं करोगे न?

तुम कोई रेलवे यात्री थोड़ी न हो.

अरे तुम नींद खराब करने की सोचना भी मत.

तो क्या हुआ नींद खराब होगी तो ट्वीट कर देना.

अरे मेरी जान अब प्रभु नहीं रहे.

प्रभु रहे या कोई और हालात तो वही रहनी है न.

हा हा हा हा , सही पकड़े हैं.

तुम मेरा दर्द समझते हो न?

बिल्कुल मेरी जान तुम्हारा दर्द मेरा दर्द है.

देखो! कहीं रोहिंग्या मुसलमान जैसा हाल न हो  जाए मेरा.

अरे तुम ऐसा न सोचा करो,  मैं कट्टर नहीं हूँ इतना.

 

चलो कहीं चलते हैं.

हां! चलो लेकिन पिछली बार की तरह गिरना मत.

अरे! मैं कोई जीडीपी थोड़ी न हूँ जो बार बार गिरूँगी.

हा हा हा हा

तुम अपने प्यार को कितनी आगे ले जाओगे?

जितना सरकार पेट्रोल को ले जा रही है.

सही राह पर हो.  हा हा हा हा

तुम और तुम्हारी बातें.

हां क्या हुआ मेरी बातों को?

समझ ही नहीं आतीं, एकदम जीएसटी की तरह हैं.

अरे बाबा इतनी भी मुश्किल नहीं हैं  बातें.  हा हा हा हा

 

एक बात बोलूँ, तुम्हारा जलना और आरके स्टूडियो का जलना फायदे का सौदा है.

कैसे मेरी जान! इसमें क्या कॉमन है ?

तुम्हारे जलने से प्यार ज्यादा मिलता है और स्टूडियो जलने से बीमा का पैसा.

 

अच्छा ये बताओ तुम्हारा लोकल डिब्बा पटरी पर चलता है क्या?

नहीं वो तो प्यार के ईंधन से लोगों के दिलों पर चलता है.

वाह और पॉलिटिकल लव उन्हीं दिलों की बात है, क्यों सही पकड़े न?

एकदम सही मेरी जान , लव यू!

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