कल तुम मुझे इग्नोर करके आगे क्यों चले गए?
अरे वो दोस्त से मिलना था, तुम तो रोज ही साथ रहती हो,
नहीं लग तो ऐसा रहा था जैसे मैं मार्गदर्शन मंडल की सदस्य हूं।
अरे बाबा तुम ना इतना मत सोचा करो,
तुम्हारी हरकतें सोचने पर मजबूर कर देती हैं मुझे।
तुम मेरी याद में क्या बनाओगे?
सोच रहा हूँ मूर्ति बनवा दूं।
देख लो कहीं कोई मेरी मूर्ति पर गुस्सा न निकाल दे।
अरे चिंता मत करो तुम्हारी मूर्ति हर विचारधारा से परे होगी,
विचारधाराओं से ही नहीं धर्म से भी परे रखना।
तुम मेरी इच्छा के खिलाफ ही क्यों काम करते हो?
क्योंकि अभी तुम्हारी इच्छा पर फैसला नहीं आया है,
रुको मैं भी अपील करूँगी अब तो तभी मानोगे तुम,
अभी कर लो सही मूड में हैं पक्ष में ही फैसला आएगा।
चलो ना हम भी कहीं सरकार बना लेते हैं।
अरे पागल उसके लिए बहुमत लाना होता है,
अच्छा तो नागालैंड में बना लेते है वहाँ बिना बहुमत के बन रही है,
हां वहाँ बना सकते है हम भी सरकार बस थोड़ा पैसा ही तो लगेगा।
तुम न आजकल मिलते नहीं हो,
वो बस थोड़ा काम था,
रहने दो कितने दिन से यही बोल रहे हो,
अब बाबा तुम्हारी हर मांग तो पूरी नहीं कर सकता मैं,
बस मिलने को तो बोल रही हूँ कौन सा विशेष दर्जा मांग रही हूँ।
ठीक है तुम आंध्रप्रदेश से हो आओ तब मिलते हैं।
चलो कुछ नया करते हैं प्यार में,
ठीक है झंडा बना देते हैं प्यार का एक,
अच्छा झंडे की मान्यता किस से लेनी होगी?
किसी से नहीं प्यार का झंडा बना रहे हैं किसी राज्य का थोड़ी।
ये भी ठीक बोला तुमने।
तुम्हें क्या पता तुम्हारे घर वालों को पटाने के लिए क्या-क्या किया मैंने!
सुअर का मांस भी खाया क्या पटाने के चक्कर में?
मैं वहाँ घर वालों को पटाने गया था चुनाव जीतने नहीं,
तो मेरे घर वालों को पटा लेना चुनाव जीतने से कम भी नहीं है।
हां ये भी सही बोल रही हो तुम।
तुम मेरा नाम थोड़ा इज़्ज़त से लिया करो,
ठीक है आज से तुम्हारे नाम से पहले श्री लगा देंगे,
वाह सैलरी काटने से पहले अकल आ गई तुम्हें तो,
वैसे मैं कही तुम्हारा नाम इज़्ज़त से नहीं लिया तो तुम्हें कौन बताएगा जी,
अपने भक्त हर जगह हैं, बॉर्डर पर भी,
हां वो तो देखा मैंने, चलो गलती से भी गलती नहीं करूंगा।
चलो हम शादी कर लेते हैं।
अरे हो तो गई हमारी शादी अब कितनी बार करें?
दुबारा कर लेते है ना सही से।
चलो फिर यूपी से करते हैं इस बार।
अच्छा जी 20 हज़ार लेने के चक्कर में हो तुम भी?
अगर तुमने मुझे चॉकलेट नहीं दी तो देख लेना।
क्या देख लेना तुम भी सीरिया बना दोगी क्या?
क्यों तुम्हें मेरे नाम के आगे श्री श्री दिख रहा है क्या?
दिख तो नहीं रहा पर धमकी कुछ वैसी ही दे रही हो।
तुमने ही उस दिन रात में मारा था मुझे थप्पड़?
अरे मैं ज़िद्दी हो सकता हूँ पर हिंसक नहीं,
अच्छा जी बड़े डायलॉग सीख रहे हो,
वो बस दिल्ली में रहता हूँ ना।
तुम मुझे सोना बाबू क्यों नहीं बोलते?
मैं प्रेमी हूँ और मुझे यह सब ना बोलने पर गर्व है।
सारा गर्व ना अपने ही पास रखो, जाओ मैं नहीं बोल रही अब तुमसे,
अरे बाबू सॉरी वो थोड़ा यूपी से आया था फ्लो-फ्लो में बोल दिया ऐसा।
ज्यादा यूपी न जाया करो पता नहीं क्या-क्या सीख कर आते हो।
ठीक है सोना बाबू।
आज कुछ सुनाओ तुम मुझे।
अच्छा ठीक है 3 का पहाड़ा सुनाता हूँ।
अच्छा तुम्हें आता है 3 का पहाड़ा?
और नहीं तो क्या हमें साहब समझी हो क्या?
तुम्हें पता है हम अकेले-अकेले रहे तो जीत नहीं पाएंगे घरवालों से,
हां सही बोल रही हो तुम वैसे भी घरवालों के पास बहुत पॉवर है,
चलो फिर हम एक हो जाते हैं फिर हम सबसे जीत जाएंगे।
सही बोल रहे हो तुम मैं भी गेस्ट हाउस वाली बात भूल जाती हूँ।
हां उसके लिए सॉरी बाबू छोड़ो उन बातों को अब।
इतनी जल्दी में कहाँ जा रहे हो,
अरे वो लोकल डिब्बा पकड़ना है ना,
रुको मैं भी आ रही हूँ साथ में ही चलते हैं।